नितिन गडकरी का तोहफा हाईवे पर अब सफर होगा सस्ता नए साल से Toll Tax माफ, जानिए क्या हैं शर्तें

Toll Tax: नए साल की शुरुआत से पहले देशभर के वाहन चालकों के लिए एक बड़ी खुशखबरी आई है। केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने टोल टैक्स को लेकर एक अहम ऐलान किया है। सरकार के इस फैसले से लाखों वाहन चालकों को राहत मिलने वाली है। अगर आप भी रोजाना हाइवे पर सफर करते हैं, तो यह खबर आपके लिए बहुत जरूरी है।

टोल टैक्स पर सरकार का बड़ा फैसला

मोदी सरकार ने टोल टैक्स को लेकर एक ऐतिहासिक फैसला लिया है। नए नियमों के तहत, कुछ खास परिस्थितियों में टोल टैक्स माफ कर दिया गया है। इसका मतलब यह है कि अब हर वाहन चालक को टोल टैक्स देने की जरूरत नहीं होगी, लेकिन इसके लिए कुछ शर्तें तय की गई हैं।

इस फैसले का सबसे ज्यादा फायदा उन लोगों को होगा जो रोजाना हाईवे और एक्सप्रेसवे पर सफर करते हैं। खासतौर पर, अगर आप अपने निजी वाहन का इस्तेमाल करते हैं और ग्लोबल नेवीगेशन सेटेलाइट सिस्टम (GNSS) का उपयोग कर रहे हैं, तो आप टोल टैक्स से बच सकते हैं।

कैसे काम करेगा नया नियम?

सरकार के नए नियमों के मुताबिक, जो वाहन चालक अपने निजी वाहन में GNSS सिस्टम का उपयोग करते हैं, उन्हें टोल टैक्स माफ कर दिया जाएगा। इसके अलावा, अगर वाहन चालक 20 किलोमीटर के दायरे में सफर करते हैं, तो उन्हें भी टोल टैक्स देने की आवश्यकता नहीं होगी।

अगर किसी वाहन चालक की यात्रा 20 किलोमीटर से अधिक की होती है, तो केवल वास्तविक दूरी के आधार पर ही टोल टैक्स वसूला जाएगा। यह कदम न केवल वाहन चालकों की जेब पर बोझ कम करेगा, बल्कि पारदर्शिता भी लाएगा।

GNSS सिस्टम क्या है और क्यों जरूरी है?

GNSS (ग्लोबल नेवीगेशन सेटेलाइट सिस्टम) एक ऐसी तकनीक है जो वाहन की लोकेशन और यात्रा की वास्तविक दूरी को ट्रैक करती है। इस सिस्टम का इस्तेमाल करके यह तय किया जाता है कि किसी वाहन चालक को टोल टैक्स देना है या नहीं।

GNSS सिस्टम को भारत में फास्टटैग के साथ जोड़ा गया है, जिससे टोल टैक्स की वसूली और अधिक डिजिटल और पारदर्शी हो गई है।

पायलट प्रोजेक्ट के तहत लागू हुआ नियम

सरकार ने इस योजना को अभी केवल पायलट प्रोजेक्ट के रूप में लागू किया है। वर्तमान में इसे दो नेशनल हाइवे पर लागू किया गया है:

  1. कर्नाटक के नेशनल हाइवे 275
  2. हरियाणा के नेशनल हाइवे 709

इन हाइवे पर GNSS सिस्टम का उपयोग करके टोल टैक्स वसूली की जा रही है। यदि यह पायलट प्रोजेक्ट सफल होता है, तो इसे देशभर के अन्य हाईवे और एक्सप्रेसवे पर भी लागू किया जाएगा।

वाहन चालकों को कैसे मिलेगा फायदा?

सरकार के इस फैसले से वाहन चालकों को कई लाभ होंगे। अब उन्हें सिर्फ उतनी ही दूरी का टोल टैक्स देना होगा जितना वे वास्तव में सफर करेंगे। 20 किलोमीटर के दायरे में यात्रा करने वाले वाहन चालकों को बिल्कुल भी टोल टैक्स नहीं देना पड़ेगा।

यह कदम उन लोगों के लिए भी फायदेमंद साबित होगा जो हर दिन काम के सिलसिले में हाईवे का इस्तेमाल करते हैं। टोल टैक्स माफी और दूरी आधारित टोल प्रणाली से लोगों की जेब पर कम बोझ पड़ेगा।

नए नियम की घोषणा पर लोगों की प्रतिक्रिया

नितिन गडकरी द्वारा किए गए इस ऐलान को देशभर में सकारात्मक प्रतिक्रिया मिल रही है। वाहन चालक, जो अब तक भारी टोल टैक्स का भुगतान करते थे, इस नई प्रणाली से बेहद खुश हैं। यह फैसला न केवल समय और पैसे की बचत करेगा, बल्कि हाईवे पर ट्रैफिक मैनेजमेंट को भी बेहतर बनाएगा।

क्या कहती है सरकार?

केंद्रीय परिवहन मंत्रालय का मानना है कि GNSS सिस्टम को अपनाने से टोल वसूली प्रक्रिया पारदर्शी होगी। यह कदम डिजिटल इंडिया अभियान को भी मजबूती देगा और लोगों को डिजिटल पेमेंट सिस्टम अपनाने के लिए प्रेरित करेगा।

सरकार का लक्ष्य है कि आने वाले समय में देश के सभी हाइवे और एक्सप्रेसवे पर इस प्रणाली को लागू किया जाए।

आगे क्या?

अगर पायलट प्रोजेक्ट से सकारात्मक रिपोर्ट मिलती है, तो आने वाले कुछ सालों में GNSS सिस्टम को पूरे देश में लागू कर दिया जाएगा। इससे वाहन चालकों को एक नई राहत मिलेगी, और भारत की सड़कों पर टोल टैक्स वसूली की प्रणाली पूरी तरह से डिजिटल हो जाएगी।

निष्कर्ष

नितिन गडकरी द्वारा की गई यह घोषणा देशभर के वाहन चालकों के लिए नए साल का तोहफा है। टोल टैक्स माफी और वास्तविक दूरी आधारित प्रणाली से वाहन चालकों को राहत मिलेगी और पारदर्शिता बढ़ेगी।

अगर आप भी हाइवे पर नियमित यात्रा करते हैं, तो GNSS सिस्टम को अपनाना आपके लिए फायदेमंद होगा। यह न केवल टोल टैक्स से बचाएगा, बल्कि आपके सफर को भी आसान बनाएगा।

नए साल के इस बड़े तोहफे के लिए सभी वाहन चालकों को बधाई!

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